पृथ्वी के साथ जुडा हुआ भौतिक धन, साधनसामग्री, जो प्राणसहित होती है, विकास की ओर ले जाने वाली होती है, उसे ही ऐश्वर्य कहा जाता है ।
ऐश्वर्य इस शब्द का अर्थ उस शब्द में रहने वाले बीजों के आधार पर क्या होता है, यह बात परम पुज्य बापूने अपने गुरुवार दिनांक २५ मार्च २००४ के हिन्दी प्रवचन में बतायी, जो आप इस व्हिडियो में देख सकते हैं l
॥ हरि ॐ ॥ ॥ श्रीराम ॥ ॥ अंबज्ञ ॥