Sadguru Aniruddha Bapu
श्रीशब्दध्यानयोग - ०१

श्रीशब्दध्यानयोग - ०१

‘श्रीशब्दध्यानयोग - ०१’ इस बारे में हमारे सद्गुरु श्री अनिरुद्ध ने पितृवचनम् में बताया, जो आप इस व्हिडिओ में देख सकते हैं।   

जिज्ञासा यह भक्ति का पहला स्वरूप है

जिज्ञासा यह भक्ति का पहला स्वरूप है

सद्‍गुरु श्री अनिरुद्धजी ने ०७ अप्रैल २००५ के पितृवचनम् में ‘जिज्ञासा यह भक्ति का पहला स्वरूप है (The curiosity is the first form of Bhakti)’ इस बारे में...

अहंकार हमारा सबसे बड़ा शत्रु है

अहंकार हमारा सबसे बड़ा शत्रु है

सद्‍गुरु श्री अनिरुद्धजी ने ०५ मई २००५ के पितृवचनम् में ‘अहंकार हमारा सबसे बड़ा शत्रु है(Ego is our biggest enemy)’ इस बारे में बताया।

'अभिसंवाहन’ शब्द का अर्थ

'अभिसंवाहन’ शब्द का अर्थ

‘अभिसंवाहन’ शब्द का अर्थ इस बारे में हमारे सद्गुरु श्री अनिरुद्ध ने पितृवचनम् में बताया, जो आप इस व्हिडिओ में देख सकते हैं।

सद्‍गुरु महिमा - भाग ३

सद्‍गुरु महिमा - भाग ३

सद्‍गुरु श्री अनिरुद्धने १५ अप्रैल २०१० के पितृवचनम् में ‘सद्‍गुरु महिमा - भाग ३ (Sadguru Mahima - Part 3)’ इस बारे में बताया।

सद्‍गुरु महिमा - भाग १

सद्‍गुरु महिमा - भाग १

सद्‍गुरु श्री अनिरुद्धने १५ अप्रैल २०१० के पितृवचनम् में ‘सद्‍गुरु महिमा’ इस बारे में बताया। हेमाडपंतजी ने सद्‍गुरु क्या था, क्या होता है, कैसे होता है...

नवरात्रीचे महत्त्व  (Significance of Navaratri)

नवरात्रीचे महत्त्व (Significance of Navaratri)

सद्गुरू श्री श्रीअनिरुद्धांनी त्यांच्या २८ मे २०१५च्या मराठी प्रवचनात ‘नवरात्रीचे महत्त्व(Significance of Navaratri) ’ याबाबत सांगितले.

स्मरण (The constant remembrance of The God)

स्मरण (The constant remembrance of The God)

सद्गुरू श्री श्रीअनिरुद्धांनी त्यांच्या २० जून २०१३ च्या मराठी प्रवचनात ‘‘स्मरण(The constant remembrance of The God)’ याबाबत सांगितले.

खुद के कंधे पर खुद का सर होना चाहिये (Should be the head of self on own shoulder)

खुद के कंधे पर खुद का सर होना चाहिये (Should be the head of self on own shoulder)

सद्‍गुरु श्री अनिरुद्ध बापू ने ९ अक्तुबर २०१४ के प्रवचन में ‘खुद के कंधे पर खुद का सर होना चाहिये’ इस बारे में बताया।

भगवान की कथाओं के द्वारा मन में आध्यात्मिक परिवर्तन (The Spiritual Transformation of the Mind through God's Stories) - Aniruddha Bapu

भगवान की कथाओं के द्वारा मन में आध्यात्मिक परिवर्तन (The Spiritual Transformation of the Mind through God's Stories) - Aniruddha Bapu

सद्‍गुरु श्री अनिरुद्धने २० फरवरी २०१४ के पितृवचनम् में ‘भगवान की कथाओं के द्वारा मन में आध्यात्मिक परिवर्तन’ इस बारे में बताया।

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